RAW रिव्यु: ‘रोमियो अकबर वॉल्टर’ बने जॉन अब्राहम आपको ले जाएंगे जासूसी की अलग दुनिया में

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Nikhil Talwaniya
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RAW रिव्यु: ‘रोमियो अकबर वॉल्टर’ बने जॉन अब्राहम आपको ले जाएंगे जासूसी की अलग दुनिया में

कलाकार: जॉन अब्राहम, मौनी रॉय, सिकंदर खेर, सुचित्रा कृष्णामूर्ति, जैकी श्रॉफ

निर्देशक: रॉबी ग्रेवाल

रेटिंग: ***

फिल्म रोमियो अकबर वॉल्टर बॉक्स ऑफिस पर रिलीज हो गयी है। इस फिल्म में जॉन अब्राहम, मौनी रॉय, सुचित्रा कृष्णामूर्ति, जैकी श्रॉफ, सिकंदर खेर जैसे कलाकार है। फिल्म को रॉबी ग्रेवाल ने निर्देशित किया है जो की एक थ्रिलर ऐक्शन मूवी है।

जॉन अब्राहम का इस फिल्म में अच्छा खासा ट्रांसफॉर्मेशन हुआ है जॉन ने बहुत सी फिल्मों में देशभक्ति वाले किरदार निभाए है जिनमे 'मद्रास कैफे'  'परमाणु' और ‘सत्यमेव जयते’ प्रमुख है। फिल्म RAW यानी ‘रोमियो अकबर वॉल्टर' में भी वह देशभक्ति से ओत प्रोत किरदार निभाते हुए नजर आ रहे है। इस फिल्म में साल 1971 की कहानी है जिसमे रोमियो, अकबर और वॉल्टर जैसे तीन बहरूपिये है जो अपनी देश के लिए जान की बाजी लगाकर दुश्मन देश में जासूसी करता है। लेकिन जासूस के रूप में भेद खुलने पर जॉन को पकड़ लिया जाता है। उसके बाद क्या क्या होता है? पकडे जाने पर देश उसपर गौरव करता है या नहीं? इन्ही सवालों के तानेबाने में यह फिल्म निर्मित हुई है।

चलिए आपको इस फिल्म की कहानी से थोड़ा और अवगत करा देते है। यह फिल्म में अकबर यानि की जॉन अब्राहम से शुरू होती है जिसमे जॉन को पाकिस्तानी इंटेलिजेंस अफसर खुदाबख्श यानि सिकंदर खेर के द्वारा बहुत प्रताड़ित किया जाता है। उन्हें इतना टॉर्चर किया जाता है की थर्ड डिग्री में उनके नाख़ून तक निकाल दिए जाते है। ऐसा इसलिए किया जाता है क्योंकि पाकिस्तान इंटेलिजेंस को शक होता है की अकबर भारतीय ख़ुफ़िया एजेंसी रॉ का जासूस है। इसके बाद कहानी का फ्लैशबैक शुरू होता है। फ्लैशबैक में जॉन रोमियो के रूप में एक बैंक में काम करता है जो की बहुत ही बहादुर व ईमानदार है। रोमियो अपने ही बैंक में काम करने वाली श्रद्धा यानी मौनी रॉय से प्रेम करता है। रोमियो अपनी माँ के साथ रहता है उसके पिता ने देश के लिए अपनी जान दी थी। उसके बाद से रोमियो की माँ ने देशभक्ति से अलग होकर एक आम जीवन की तरह जीवन यापन किया और रोमियो की परवरिश की।

रोमियो जिस बैंक में काम करता है उसी बैंक में एक बार डकैती होती है जो रोमियो के जीवन को बदल देती है। बैंक में हुई डकैती का वह डटकर सामना करता है। रॉबरी होने के बाद रोमियो को पता चलता है की रॉ के चीफ श्रीकांत राय यानी जैकी श्रॉफ ने उसे एक जासूस के लिए चुना है। जिसमे उसे अकबर मलिक बनना है और पाकिस्तान से खुफिया जानकारी प्राप्त करनी है। इस दौरान उसे कड़ी ट्रेनिंग भी दी जाती है।

इसके बाद वह अकबर बनकर पाकिस्तान जाता है जहाँ वह इजहाक अफरीदी यानी अनिल जॉर्ज का दिल जीत लेता है। साथ ही उसका विश्वासपात्र भी बन जाता है। जिसके कारण उसे पाकिस्तान द्वारा बदलीपुर में करने वाले हमले के बारे में पता चल जाता है और अकबर भारत को इसकी सुचना देता है। इस मिशन में पाकिस्तानी रघुवीर यादव अकबर का साथ देता है। कुछ दिनों तक सब ठीक चलता है उसके बाद खुदाबख्श को शक हो जाता है और वह उसे टॉर्चर करके सच जानने की कोशिश करता है। इस फिल्म में वॉल्टर के किरदार को भी बहुत अच्छे से दर्शाया गया है। जो आपको फिल्म देखने पर पता चल सकती है।

इस फिल्म का फर्स्ट हाफ थोड़ा धीमा है साथ ही थ्रिलिंग का भी थोड़ा आभाव है। पर दुसरे हाल्फ में फिल्म आपको बांधती है। फिल्म की कहानी अच्छी है और अभिनय के मामले में जॉन ने बहुत अच्छा काम किया है। यह फिल्म ठीक ठाक रूप से बॉक्स ऑफिस पर चल सकती है। अगर आपको जासूसी विषय पसंद है तो आपको यह फिल्म देखनी चाहिए। इसके अलावा अगर आप जॉन के फैन हैं और उनके पिछले कुछ देशभक्ति फिल्म आपको खूब पसंद आये हैं तो यह फिल्म आपको ज़रूर देखनी चाहिए।

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