पुलवामा में 14 फरवरी को हुए आतंकी हमले से देश के 40 जवान शहीद हुए थे। इस घटना के बाद से आर्थिक मोर्चे पर भारत ने पाकिस्‍तान के विरुद्ध कई कड़े फैसले लिए। साथ ही एयर स्‍ट्राइक के द्वारा पाकिस्‍तान के आतंकी ठिकानों को भी तबाह कर दिया। इतना ही नहीं भारत ने पाकिस्‍तान के आतंकी संगठनों पर प्रतिबंध लगाने हेतु अंतरराष्‍ट्रीय स्‍तर पर भी घेराबंदी की शुरुआत कर दी है।

अब भारत ने पाकिस्तान को सबक सिखाने के लिए एयरस्‍ट्राइक और कूटनीति स्‍तर पर चाल चली जिसके कारण पाकिस्तान चारो खाने चित हो गया है। पाकिस्तान को लगभग 10 अरब डॉलर की हानि होने की सम्भावना है यह बात खुद पाकिस्तान ने कबूल कर ली है।

जानकारी दे दें की पाकिस्तान में छुपे हुए जैश ए मोहम्मद जैसे आतंकवादी संगठनों पर पाबंदी लगाने के लिए लगातार भारत अंतरराष्ट्रीय स्‍तर पर घेराबंदी करने का प्रयास कर रहा है। साथ ही पाकिस्‍तान पर कार्रवाई करने के लिए दुनिया के अन्य बड़े देश भी दबाव बना रहे हैं। जिसके चलते पाकिस्तान के विदेश मंत्री शाह महमूद कुरैशी ने यह दावा किया है कि पाकिस्तान को भारत की 'लॉबिंग' से वित्तीय कार्रवाई कार्यबल (एफएटीएफ) द्वारा ब्‍लैक लिस्‍ट में डाले जाने की आशंका है।

यदि ऐसा होता है तो पाकिस्तान को प्रतिवर्ष 10 अरब डॉलर घाटा हो सकता है। कुरैशी ने आगे बताया की एफएटीएफ की ब्‍लैक लिस्‍ट में पाकिस्तान के आने से उसे कितना नुकसान होगा इस विषय में विदेश विभाग गणना कर रहा है। यह भी कहा कि इसके लिए भारत द्वारा लॉबिंग की जा रही है।

इससे पहले पिछले साल जून में पेरिस के एफएटीएफ ने पाकिस्तान को निगरानी वाले देशों की सूची में रखा था। बता दें की इस सूची में उन देशों को शामिल किया गया है जो की आतंकवाद के प्रति नरम रवैया अपनाते और मनी लांड्रिंग करते है।