पाकिस्तान के प्रधानमंत्री इमरान खान ने अब मुसलमानों के प्रति अपना असली चेहरा दिखा ही दिया है। इमरान कश्मीर के नाम पर दुनिया के मुसलमानों को उकसाने और भड़काने का काम तो कर रहे है परन्तु जब चीन के उइगर मुसलमानों की समस्या को लेकर बात उठी तो वे कह रहे हैं कि उनके विषय में उन्हें जानने का समय नहीं है। इमरान खान को पूरी दुनिया के मुस्लिमों का दुख तो दिखाई देता है परन्तु वह उइगर मुस्लिमों को जानते ही नहीं है।
जब अलजजीरा के इंटरव्यू में इमरान से चीन में वहाँ की सरकार द्वारा सताए जा रहे उइगर मुसलमानों के सम्बन्ध में पूछा गया, तो वह इस सवाल को टालने लगे। उन्होंने कहा कि वो इस समस्या के बारे में अधिक नहीं जानते हैं। अल जजीरा के पत्रकार मोहम्मद जमजूम ने इमरान से सवाल किया, “पाकिस्तान चीन के साथ घनिष्ठ संबंध रखता है, क्या आपने चीनी राष्ट्रपति शी जिनपिंग के साथ कभी उइगर मुसलमानों के उत्पीड़न के मुद्दे पर चर्चा की है?”
When asked about China's treatment of Uyghur Muslims, primer minister of Pakistan says, "frankly, we've been facing so many of our internal problems that I don't know much about this problem." pic.twitter.com/wLkfYZkq1Z
— Naila Inayat नायला इनायत (@nailainayat) September 14, 2019
इमरान ने इसके जबाब में कहा कि, “नहीं, मैंने नहीं की है, क्योंकि इसके बारे में मुझे ज्यादा नहीं पता है।” आगे इमरान ने कहा, “हम अभी अपनी आंतरिक समस्याओं से जूझ रहे हैं, इस मुद्दे के बारे में मुझे सच में ज्यादा जानकारी नहीं है। हम एक साल से सरकार में हैं, हम अर्थव्यवस्था को सुधारने में लगे हैं और अब कश्मीर का मुद्दा है। हम कई समस्याओं से घिरे हुए हैं। लेकिन मैं चीन के लिए एक बात कहूँगा, हमारे लिए चीन सबसे अच्छा दोस्त है।”
इस इंटरव्यू के दौरान इमरान खान ने कबूल किया कि यदि भारत के साथ परंपरागत युद्ध हुआ तो उनके देश को भारी नुकसान होने वाला है। उन्होंने कहा कि, “अगर पाकिस्तान ने भारत के साथ परंपरागत युद्ध लड़ा और वह हारने लगा तब उसके पास दो ही विकल्प होंगे, या तो वह आत्मसमर्पण करे या फिर आखिरी दम तक आज़ादी की लड़ाई लड़े।” इमरान खान ने कहा कि उन्हें मालूम है कि पाकिस्तानी अपनी आज़ादी की लड़ाई अंतिम सॉंस तक लड़ेंगे।