भारत की कूटनीति के सामने इमरान खान के छूटे पसीने, कहा ‘नहीं करेंगे पहले एटम बम का उपयोग’

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Rishabh Verma
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भारत की कूटनीति के सामने इमरान खान के छूटे पसीने, कहा ‘नहीं करेंगे पहले एटम बम का उपयोग’

कश्मीर पर दोनों पड़ोसी देशों में तनाव बना हुआ है। इस तनाव के बीच सोमवार को पाकिस्तानी प्रधानमंत्री इमरान खान ने कहा कि भारत के साथ उनका देश कभी भी युद्ध शुरू नहीं करेगा।  

गवर्नर हाउस में जुटे सिख समुदाय के लोगों को संबोधित करते हुए इमरान ने कहा, “हम कभी भी युद्ध शुरू नहीं करेंगे। पाकिस्तान और भारत दोनों परमाणु शक्तियां हैं और यदि तनाव बढ़ा तो दुनिया खतरे का सामना करेगी।” खान ने आगे कहा कि युद्ध किसी समस्या का समाधान नहीं है।

इमरान ने कहा कि, “मैं भारत को बताना चाहता हूँ कि युद्ध किसी समस्या का हल नहीं है। युद्ध में जीतने वाले को भी बहुत कुछ गंवाना पड़ता है। युद्ध कई अन्य मुद्दों को जन्म देता है।”

बता दें कि जनवरी 2016 में पाकिस्तान स्थित आतंकवादियों द्वारा पठानकोट स्थित वायुसैनिक अड्डे पर किये गए हमले के पश्चात् भारत और पाकिस्तान के बीच बातचीत नहीं हो रही है और भारत का कहना है कि बातचीत और आतंकवाद साथ-साथ नहीं चल सकते।

इसके बाद इस साल की शुरुआत में ही तनाव तब और बढ़ गया था जब पाकिस्तान स्थित आतंकी संगठन द्वारा एक आत्मघाती हमलावर ने कश्मीर के पुलवाला जिले में सीआरपीएफ जवानों की बस पर हमला किया। 40 सीआरपीएफ जवान इस हमले में मारे गए थे। इसके जबाब में भारतीय सेना ने 26 फरवरी को पाकिस्तान की सीमा के भीतर बालाकोट में जैश के सबसे बड़े आतंकी प्रशिक्षण शिविर को निशाना बनाया।  

अगले ही दिन पाकिस्तानी वायु सेना ने पलटवार किया और भारतीय ठिकानों को निशाना बनाने का प्रयास किया। भारत और पाक के मध्य हाल ही में तनाव और बढ़ गया जब भारत ने जम्मू कश्मीर को विशेष दर्जा देने वाले संविधान के अनुच्छेद 370 के अधिकतर प्रावधानों को ख़त्म कर दिया।  प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के साथ पूर्व में हुई अपनी टेलीफोन वार्ता का हवाला देते हुए खान ने कहा, “मैंने उन्हें बताया कि भारत और पाकिस्तान दोनों जगह एक जैसे हालात हैं। मैंने उन्हें जलवायु परिवर्तन के बारे में बताया। हम एक विस्फोटक स्थिति का सामना कर रहे हैं। अगर हमनें इस समस्या (जलवायु परिवर्तन) का हल नहीं किया तो (दोनों देशों में) पानी की कमी होगी। मैंने उन्हें बताया कि हम एक साथ कश्मीर मुद्दे का हल वार्ता के जरिये कर सकते हैं।”

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