Facebook के हार्डवेयर पर काम करने वाला डिविजन Facebook Reality Labs ने अब एक नई तकनीक ईजाद कर रहा है जिससे मनुष्य सिर्फ अपने मन में सोचेगा और वह टेक्स्ट टाइप हो जायेगा। इसे Facebook Reality Labs और यूनिवर्सिटी ऑफ कैलिफ़ोर्निया, सैन फ्रैंसिस्को (UCSF) के वैज्ञानिक साथ मिलकर बना रहे है। इस तकनीक के माध्यम से मनुष्य की सोच को सीधे दिमाग से कंप्यूटर के स्क्रीन पर लेकर आ सकते है।
मनुष्य के दिमाग को पढ़ने वाली तकनीक के लिए फेसबुक ने एक मेथड का डेमोंस्ट्रेशन किया है। यह तकनीक दिमाग के पूरे फ्रेज को रीड करेगी। अभी भी ब्रेन कंप्यूटर इंटरफेस तकनीक है जिससे मनुष्य के दिमाग को पढ़ना संभव है।
फेसबुक ने अपने 2017 के डेवेलपर कॉन्फ्रेंस में दिमाग को पढ़ने का आईडिया रखा था। अब इस प्रोजेक्ट पर कंपनी ने अपडेट जारी करते हुए कहा कि यह प्रोजेक्ट प्रगति पर है। इस प्रोजेक्ट की रिसर्च के लिए रिसर्चर्स ने Epilepsy के मरीज़ पर अध्ययन भी किया है। इस प्रोजेक्ट से उन मरीज़ों को फायदा है जो ब्रेन इंजरी के कारण से बोल नहीं सकते है और इस ब्रेन रीडिंग की सहायता से इन मरीज़ों के लिए कम्यूनिकेशन डिवाइस भी बनाई जा सकती है।
इस प्रोजेक्ट के बारे में फेसबुक के वाइस प्रेसिडेंट Andrew Bosworth (Boz) ने अपने आधिकारिक ट्विटर हेंडल से एक ट्वीट किया है जिसमे उन्होंने लिखा "आज हम आपके सामने एक गैर-इनवेसिव पहनने योग्य डिवाइस को बनाने के बारे में अपडेट साझा कर रहे हैं। जो लोगों बोल नहीं सकते है यह डिवाइस उन लोगों के लिए। हमारी प्रगति भविष्य की वास्तविक संभावनाओं को दर्शाती है।"
जानकारी दे दें कि Tesla और Space X ने भी एक नई तकनीक की खोज की है जिसके द्वारा मनुष्य के दिमाग में चिप लगाई जाएगी जिससे मनुष्य के दिमाग को मोबाइल फ़ोन से कंट्रोल कर सकते है। इस तकनीक का उपयोग सिर्फ इलाज के लिए किया जायेगा।